Thursday, March 5, 2020

केंद्र सरकार कोरोना वायरस के खतरे से निपटने के लिए हरसंभव प्रयास कर रही है : श्री प्रकाश जावड़ेकर

केंद्रीय पर्यावरण,वन और जलवायु परिवर्तन तथा सूचना एवं प्रसारण और भारी उद्योग एवं लोक उद्यम मंत्री श्री प्रकाश जावड़ेकर ने आज पत्रकारों को केंद्र सरकार द्वारा कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए उठाए जा रहे प्रयासों की जानकारी दी।उन्होंने कहा कि भारत ने कोरोना वायरस के खतरे को बेहद गंभीरता से लिया है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी स्वयं इस संबंध में उठाए जा रहे प्रयासों की अगुवाई कर रहे हैं और प्रतिदिन स्थिति की निगरानी कर रहे हैं। प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव और कैबिनेट सचिव प्रतिदिन वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के द्वारा सभी संबधित राज्यों और संघ शासित प्रदेशों के मुख्य सचिवों और संबधित अधिकारियों के साथ बैठक कर रहे हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय डॉ. हर्षवर्धन के नेतृत्व में स्थिति पर नजर बनाए हुए है। इसमें देश भर में स्क्रीनिंग वार्ड की स्थापना और विदेशों से आने वाले लोगों की स्क्रीनिंग विशेष रूप से शामिल है। मानेसर स्थित आईटीबीपी परिसर में एक आइसोलेशन शिविर स्थापित किया गया है। जो सातों दिन चौबीसों घंटे काम कर रहा है।


श्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा केंद्र सरकार कोरोना वायरस के केंद्र चीन के वुहान में फंसे भारतीयों को लेकर आ चुकी है और इन लोगों का उपचार किया गया है। जापान के एक जहाज में कोरोना वायरस के संदिग्ध 124 भारतीयों और 5 विदेशी मरीजों को सुरक्षित बचाया गया है। इन मरीजों का परीक्षण किया गया है और ये बीमारी से ग्रसित नहीं हैं। देश के सभी  21 अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डों पर यात्रियों की चौबीसों घंटे दिन रात स्क्रीनिंग की जा रही है। अब तक 6 लाख यात्रियों की स्क्रीनिंग की जा चुकी है। नेपाल,भूटान और म्यामांर से जुड़े सीमावर्ती क्षेत्रो में लगभग दस लाख लोगों की स्क्रीनिंग की गई है। सीमावर्ती क्षेत्रों के गांवों की भी निगरानी की जा रही है।


श्री जावड़ेकर ने कहा कि देश में पहले केवल पुणे में विषाणु विज्ञान (विरोलॉजी)  प्रयोगशाला थी, अब सरकार ने 15 नई विषाणु विज्ञान प्रयोगशालाओं की स्थापना की है और एक सप्ताह के भीतर 19 ओर प्रयोगशालाओं की स्थापना की जाएगी। देश भर में एक बड़े जागरुकता अभियान की शुरुआत की गई है। इसमें विशेष तौर पर स्कूल,कॉलेज और अन्य स्थानों पर लोगों को कोरोना वायरस के संभावित प्रसार को रोकने के लिए “क्या करें और क्या न करें” संबधी जानकारी दी जाएगी।    



कोरोना वायरस-19 पर अब तक की स्थिति ‍:  मामले एवं प्रबंधन

अब तक  देश में कोरोना वायरस-19 के 29 मामलों की पुष्टि की गई है। इनमें से तीन (केरल से) मरीजों के स्‍वस्‍थ होने के बाद उन्‍हें अस्‍पताल से छुट्टी दे दी गई है। केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. हर्षवर्धन आज संसद के दोनों सदनों में इसके बारे में वक्‍तव्‍य  दे रहे हैं।


       04 मार्च, 2020 (कल) से विस्‍तृत जांच को अनिवार्य कर दिया गया है तथा कल शाम से अधिकांश हवाई अड्डों पर जांच का काम शुरू हो गया है। राज्यों द्वारा उपलब्ध कराए जा रहे अतिरिक्त कर्मचारियों के सहयोग से आज इसके स्‍थापित हो जाने की संभावना है।


      चूंकि, यात्रा से संबंधित कोरोना वायरस-19  मामलों के अलावा, सामुदायिक संक्रमण के कुछ मामलों को भी देखा गया है, इसलिए इसमें जिला कलेक्टरों और राज्यों को शामिल करने का निर्णय लिया गया है। साथ ही, राज्‍यों को जिला, ब्लॉक और ग्राम स्तरों पर तेजी से द्रुत कार्रवाई टीम गठित करने का निर्देश दिया गया है।


      कोरोना वायरस-19  के प्रबंधन में निजी क्षेत्र को भी शामिल किया जा रहा है। केंद्रीय स्‍वास्‍थ्‍य एवं परिवार कल्‍याण मंत्री आज शाम प्रमुख साझेदारों के साथ बैठक करेंगे।


      परीक्षण के लिए भेजे गए कुल 3,542 नमूनों में से  अब तक कोरोना वायरस-19  के 29  मामलों की पुष्टि की गई है। 92 नमूनों के परीक्षण की प्रक्रिया चल रही है तथा 23  नमूनों का फिर से परीक्षण किया जा रहा है।



धुले और नंबूरदार स्‍थानीय प्राधिकरण निर्वाचन क्षेत्र से महाराष्‍ट्र विधान परिषद के लिए उपचुनाव

धुले और नंबूरदार स्‍थानीय प्राधिकरण निर्वाचन क्षेत्र से महाराष्‍ट्र विधान परिषद में एक आकस्मिक रिक्ति है। रिक्ति का विवरण नीचे दिया गया है:




















 क्र.सं.



सदस्‍य का नाम



रिक्ति का कारण



रिक्ति की तिथि



सेवानिवृत्ति की तिथि  



1.



अमरीश भाई रसिक लाल पटेल



त्यागपत्र



1 अक्‍टूबर, 2019 (दोपहर)



01.01.2022



निर्वाचन आयोग ने उपर्युक्‍त रिक्ति को भरने के लिए महाराष्‍ट्र विधान परिषद के लिए उपचुनाव कराने का निर्णय लिया है, जो निम्‍नलिखित कार्यक्रम के अनुसार होगा :-          


 



















































क्र.संख्‍या



विषय



तिथियां एवं दिवस




  1.  



अधिसूचनाएं जारी करना



05 मार्च, 2020  (बृहस्पतिवार)




  1.  



नामांकन दाखिल करने की अंतिम तिथि



12 मार्च, 2020  (बृहस्पतिवार)




  1.  



नामांकनों की जांच



13  मार्च, 2020  (शुक्रवार)




  1.  



नामांकन वापस लेने की अंतिम तिथि



16  मार्च, 2020  (सोमवार)




  1.  



मतदान की तिथि



30  मार्च, 2020 (सोमवार)




  1.  



मतदान का समय



प्रात: 8.00 बजे से सायं 4.00 बजे तक




  1.  



मतगणना



31  मार्च, 2020  (मंगलवार)




  1.  



जिस तिथि से पहले चुनाव कार्य पूरा हो जाएगा



01 अप्रैल, 2020  (बुधवार)



 


इन चुनावों से संबंधित आदर्श आचार संहिता संबंधित निर्वाचन क्षेत्रों में तात्कालिक प्रभाव से लागू हो जाएगी। विवरण निर्वाचन आयोग की वेबसाइट https://eci.gov.in/files/file/4070-biennial-bye-elections-to-the-legislative-councils-from-council-constituencies-by-graduates%E2%80%99-and-teachers%E2%80%99-and-local-authorities%E2%80%99-constituencies-%E2%80%93-mcc-instructions-%E2%80%93-regarding/ पर उपलब्ध है।                                                                                   


प्रज्ञान सम्मेलन 2020 :  भविष्य के युद्ध के विश्लेषण पर भारतीय सेना की अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी

सेंटर फॉर लैंड वारफेयर स्टडिज (सीएलएडब्ल्यूएस) द्वारा आयोजित भारतीय सेना की अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी ‘प्रज्ञान सम्मेलन 2020’ आज नई दिल्ली के मानेकशॉ सेंटर में प्रारंभ हुई। दो दिन के इस सम्मेलन में राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय विशेषज्ञ जमीनी युद्ध की बदलती विशेषताओं और सेना पर इसके प्रभाव पर विचार-विमर्श करेंगे।


संगोष्ठी में रक्षा राज्यमंत्री श्री श्रीपद येशो नाइक, सेना प्रमुख जनरम एम एम नरवाने, उप सेना प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल एस के सैनी और रक्षा मंत्रालय सेना के तीनों अंगों, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों और अग्रणी थिंक टैंक और देश के अकादमिक संस्थानों के गणमान्य उपस्थित थे।


संगोष्ठी ने नए युग की युद्ध प्रणाली को परिभाषित करने वाले उभरते विचारों, दृष्टिकोणों पर विचार-विमर्श का मंच प्रदान किया। नए युग की युद्ध प्रणाली में स्वरूप के साथ – साथ युद्ध स्थल का स्वरूप बदल रहा है और लक्ष्य प्राप्ति के नए उपायों का उपयोग किया जा रहा है।


संगोष्ठी में मुख्य भाषण रक्षा राज्यमंत्री श्री श्रीपद येशो नाइक ने दिया। उन्होंने बदलती सुरक्षा परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए सशस्त्र बलों के व्यापक परिवर्तन की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि चीफ-ऑफ-डिफेंस स्टॉफ (सीडीएस) तथा सैन्य कार्य विभाग (डीएमए) इस दिशा में महत्वपूर्ण कदम है।


अपने उद्घाटन भाषण में सेना प्रमुख ने कहा कि युद्ध की प्रकृति निरंतर है, लेकिन स्वरूप विकसित होता रहता है। उन्होंने कहा कि प्रौद्योगिकी के आने से सशस्त्र बलों को कुशल होने और निरंतर परिवर्तन के साथ रहने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि सीडीएस के गठन से तीनों सेनाओं के बीच एकता की भावना मजबूत हुई है।


संगोष्ठी के पहले दिन दो सत्रों में विशेषज्ञों ने युद्ध प्रणाली विकास और बदलती परिस्थिति पर चर्चा की। विशेषज्ञों ने भविष्य के युद्ध लड़ने में उभरती प्रवृत्तियों तथा संभावनाओं की दृष्टि से सेना पर इसके प्रभाव को लेकर विचार-विमर्श किया। दूसरे सत्र में प्रौद्योगिक क्रांति-मौलिक चुनौती विषय पर चर्चा की गई। चर्चा में बहुपक्षीय कार्रवाइयों में इन्फॉरमेशन वारफेयर, साइबर तथा अंतरिक्ष युद्ध और एआई और रोबोटिक्स के प्रभाव पर चर्चा की गई। संगोष्ठी के दूसरे दिन ट्रांसफोरमेंशन इन बैटल स्पेसेज तथा हाइब्रिड/सब-कवेन्शनल वारफेयर विषय पर विचार किया जाएगा।


सेना प्रमुख ने राष्ट्रीय सुरक्षा पर फील्डमार्शल मानेकशॉ लेखन प्रतियोगिता के विजेताओं को सम्मानित किया। प्रतियोगिता देश के युवाओं में रणनीतिक सोच को प्रोत्साहित करने के लिए आयोजित की गई।