Tuesday, December 24, 2019

*जानिए क्या है एनआरसी? यदि यह 9 दस्तावेज हैं आपके पास, तो आप हैं भारत के नागरिक।*






 मथुरा;-  इस समय देश में नागरिकता संशोधन कानून और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर को लेकर चर्चा का माहौल गर्म है। लेकिन आमतौर पर किसी को घबराने की जरूरत नहीं है। कई ऐसे दस्तावेज हैं, जो या तो आपके पास होंगे या आसानी से मिल सकते हैं, जो आपकी इस देश में नागरिकता को पुख्ता करते हैं।

 

सरकार द्वारा सिटीजनशिप एमेंडमेंट एक्ट (Citizenship Amendment Act) बनने के बाद अब देशभर मेंं नागरिकता को लेकर चर्चा का माहौल गर्म है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह समेत सरकार के सभी मंत्रियों ने नागरिकता कानून और एनआरसी से नहीं घबराने की सलाह दी है। आज हम आपको बता रहे हैं कि अगर आपके पास ये नौ आसान दस्तावेज होंगे तो यकीनन आप भारत के नागरिक हैं और आपका नाम NRC (The National Register of Citizens) यानि राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर में होगा।

 

इस समय नागरिकता का सवाल पूरे देश में उठाया जा रहा है कि अगर कल को अगर नागरिकता का सबूत देना पड़े तो कैसे देंगे। वास्तव में ये दस्तावेज आसान दस्तावेज हैं, लिहाजा जो भी भारत में पैदा हुआ है और यहां रह रहा है, उसके पास इनमें से कोई ना कोई दस्तावेज भी जरूर होगा।

 

संविधान में विभिन्न अनुच्छेदों के जरिए नागरिकता को पारिभाषित किया गया है।इन अनुच्छेदों में वक्त-वक्त पर संशोधन भी हुए हैं. संविधान का अनुच्छेद 5 से लेकर 11 तक नागरिकता को पारिभाषित करता है। इसमें अनुच्छेद 5 से लेकर 10 तक नागरिकता की पात्रता के बारे में बताता है, वहीं अनुच्छेद 11 में नागरिकता के मसले पर संसद को कानून बनाने का अधिकार देता है।

 

नागरिकता को लेकर 1955 में सिटीजनशिप एक्ट पास हुआ। एक्ट में अब तक चार बार 1986, 2003, 2005 और 2015 में संशोधन हो चुके हैं।

 

संविधान में भारतीय नागरिकता को लेकर स्पष्ट दिशा निर्देश हैं।

 

इसके अनुसार अगर ये दस्तावेज आपके पास होंगे तो आप इस सूची में शामिल हो सकते हैं।

 

1) जमीन के दस्तावेज जैसे- बैनामा, भूमि के मालिकाना हक का दस्तावेज।

 

2) राज्य के बाहर से जारी किया गया स्थायी निवास प्रमाणपत्र।

 

3) भारत सरकार की ओर से जारी पासपोर्ट।

 

4) किसी भी सरकारी प्राधिकरण द्वारा जारी लाइसेंस/प्रमाणपत्र।

 

5) सरकार या सरकारी उपक्रम के तहत सेवा या नियुक्ति को प्रमाणित करने वाला दस्तावेज।

 

6) बैंक/डाक घर में खाता।

 

7) सक्षम प्राधिकार की ओर से जारी किया गया जन्म प्रमाणपत्र।

 

8) बोर्ड/विश्वविद्यालयों द्वारा जारी शिक्षण प्रमाणपत्र।

 

9) न्यायिक या राजस्व अदालत की सुनवाई से जुड़ा दस्तावेज।

 

कौन भारतीय नागरिक है और कौन नहीं?

संविधान में भारतीय नागरिक को स्पष्ट तौर पर पारिभाषित किया गया है।संविधान का अनुच्छेद 5 कहता है कि अगर कोई व्यक्ति भारत में जन्म लेता है और उसके मां-बाप दोनों या दोनों में से कोई एक भारत में जन्मा हो तो वो भारत का नागरिक होगा।भारत में संविधान लागू होने के 5 साल पहले यानी 1945 के पहले से रह रहा हर व्यक्ति भारत का नागरिक माना जाएगा।

 

हालांकि जब असम में NRC प्रक्रिया को लागू किया तो उसमें ये माना गया कि वो शख्स NRC के तहत, भारत का नागरिक होने के योग्य है, जो साबित करते हैं कि या तो वे या उनके पूर्वज 24 मार्च 1971 को या उससे पहले भारत में थे। ये प्रक्रिया बांग्लादेशी प्रवासियों को बाहर करने के लिए शुरू की गई थी। बता दें कि 1971 में हुए भारत-पाकिस्तान युद्ध के बाद बांग्लादेश का निर्माण हुआ था।

 

नागरिकता संशोधन कानून बनने के बाद ये चर्चा काफी ज्यादा है कि अब देशभर में एनआरसी लागू होगा। हालांकि भारत में पैदा हुए या लंबे समय से रह रहे लोगों के लिए इसमें घबराने की कोई बात नहीं है।

 

अगर कोई भारत में नहीं भी जन्मा हो, लेकिन वो यहां रह रहा हो और उसके मां-बाप में से कोई एक भारत में पैदा हुए हो तो वो भारत का नागरिक माना जाएगा। अगर कोई व्यक्ति यहां पांच साल तक रह चुका हो तो वो भारत की नागरिकता के लिए अप्लाई कर सकता है।

संविधान का अनुच्छेद 6 पाकिस्तान से भारत आए लोगों की नागरिकता को पारिभाषित करता है. इसके मुताबिक 19 जुलाई 1949 से पहले पाकिस्तान से भारत आए लोग भारत के नागरिक माने जाएंगे. इस तारीख के बाद पाकिस्तान से भारत आए लोगों को नागरिकता हासिल करने के लिए रजिस्ट्रेशन करवाना होगा। दोनों परिस्थितियों में व्यक्ति के मां-बाप या दादा-दादी का भारतीय नागरिक होना जरूरी है।

संविधान का अनुच्छेद 7 पाकिस्तान जाकर वापस लौटने वाले लोगों के लिए है।इसके मुताबिक 1 मार्च 1947 के बाद अगर कोई व्यक्ति पाकिस्तान चला गया, लेकिन रिसेटेलमेंट परमिट के साथ तुरंत वापस लौट गया हो वो भी भारत की नागरिकता हासिल करने का पात्र है. ऐसे लोगों को 6 महीने तक यहां रहकर नागरिकता के लिए रजिस्ट्रेशन करवाना होगा। ऐसे लोगों पर 19 जुलाई 1949 के बाद आए लोगों के लिए बने नियम लागू होंगे।

एनआरसी में वो सभी लोग पात्र हैं जो या तो भारत में पैदा हुए, या 1949 के बाद भारत आए या फिर वो लोग, जिन्होंने देश की नागरिकता हासिल कर ली हो

संविधान का अनुच्छेद 8 विदेशों में रह रहे भारतीयों की नागरिकता को लेकर है।इसके मुताबिक विदेश में पैदा हुए बच्चे को भी भारतीय नागरिक माना जाएगा अगर उसके मां-बाप या दादा-दादी में से से कोई एक भारतीय नागरिक हो। ऐसे बच्चे को नागरिकता हासिल करने के लिए भारतीय दूतावास से संपर्क कर पंजीकरण करवाना होगा।

संविधान का अनुच्छेद 9 भारत की एकल नागरिकता को लेकर है. इसके मुताबिक अगर कोई भारतीय नागरिक किसी और देश की नागरिकता ले लेता है तो उसकी भारतीय नागरिकता अपने आप खत्म हो जाएगी।

संविधान का अनुच्छेद 10 नागरिकता को लेकर संसद को अधिकार देता है।इसके मुताबिक अनुच्छेद 5 से लेकर 9 तक के नियमों का पालन करने वाले भारतीय नागरिक होंगे। इसके अलावा केंद्र सरकार के पास नागरिकता को लेकर नियम बनाने का अधिकार होगा. सरकार नागरिकता को लेकर जो नियम बनाएगी उसके आधार पर किसी को नागरिकता दी जा सकेगी।

 

संविधान का अनुच्छेद 11 संसद को नागरिकता पर कानून बनाने का अधिकार देता है। इस अनुच्छेद के मुताबिक किसी को नागरिकता देना या उसकी नागरिकता खत्म करने संबंधी कानून बनाने का अधिकार भारत की संसद के पास है।


 

 



 



मां छाया है खुशियों की, पिता सुहानी धूप

 


मात -पिता की सेवा का फल है बड़ा अनूप

वारते जीवन बच्चों पर, उनपे लुटाते जान

मां है ममता की मूरत,पिता स्नेह का रुप

 

हंसके अपने बच्चों का सर पे उठाते भार

बच्चों को ही जीने का मानते हैं आधार 

हम सबके जीवन में है इनका बड़ा महत्व 

माता है ममतामयी , पिताजी पालनहार

 

इस मन में बस एक ही बसता है अरमान

मात-पिता के चरणों में सदा मिले स्थान 

भले न देना और कुछ पर देना इतना सा

कभी अलग मां-बाप से न करना भगवान 

 

उनका जीवन सरल सुखद होता है आसान

जिस घर में मां-बाप का नित होता सम्मान 

स्वर्ग है उनके कदमों में और है चारों धाम

मात-पिता से बढ़के न कोई दूजा भगवान

 

कर्म करें पहले अच्छे फल की चिंता बाद

मात-पिता ही हैं ईश्वर रखें हरदम याद

न मथुरा काशी अवध जाने की दरकार

मात-पिता जो खुश रहें तो जीवन आबाद 

 

मांग दुआ जब भी कोई कर इतनी फरियाद

अंतर्मन में ये सदा रखना एक मुराद

धन-दौलत सुख शांति घटेंगे कभी नहीं 

गर साया हो बाप का और मां का आशीर्वाद

Thursday, December 19, 2019

ना दिख मजबूर

रूह की गर्त पर एक नकाब लपेटे हूँ।

टूटे सपनो में अब भी आश समेटे हूँ।।

 

दुखों  की  कड़कड़ाती   धूप  बहुत  है।

खुशी की सर्द हवा की उम्मीद समेटे हूँ।।

 

क्यूँ हुआ तू किनारे , सोचता है क्यूँ भला।

देख पीपल के नीचे रखे भगवान का नजारा,

टूट जाये अगर भगवान की मूरत का कोना,

वो भी पीपल के नीचे,दिखता है मजबूर बड़ा।

 

फिर से हौशलो को जिंदा करके खुद को बना।

ना दिखे मजबूर तू,अपना एक आशियाँ बना।।

 

 

 

नीरज त्यागी

जुनून जश्न कामयाबी का 2019 का आयोजन हरदा जिले की प्रताप टॉकीज में संपन्न हुआ

 



 यह प्रोग्राम डायरेक्ट सेल्लिंग कंपनी milifestyle मार्केटिंग जिसके प्रोडक्ट्स भारत सरकार के आयुष प्रीमियम मार्क से प्रमाणित हैं और साथ कौशल विकास योजना, महिला सशक्तिकरण, स्किल इंडिया, और डिजिटल इंडिया के तहत डायरेक्ट सेल्लिंग बिज़नेस लोगों को स्वरोजगार दे रहे हैं और साथ साथ इसमें सफल हुए लोगों को विजेता ऑफ मंथ विनर बने लोगों को इस चीज पर मान सम्मान दिया गया साथ ही जो लोग गोवा विनर बने उन्हें भी सम्मानित किया गया थाईलैंड विनर जिन्होंने फर्स्ट स्लैप कंप्लीट किया उन्हें भी सम्मानित किया गया साथ ही कंपनी की रैंक प्राप्त करने पर स्टार, सुपर स्टार, टीम कोऑर्डिनेटर, एरिया टीम कोऑर्डिनेटर,  डिस्ट्रिक्ट टीम कोऑर्डिनेटर, जोनल टीम कोऑर्डिनेटर, स्टेट टीम कोऑर्डिनेटर, रीजनल टीम कोऑर्डिनेटर इत्यादि रैंक पर सम्मानित किया गया यह कार्यक्रम हर वर्ष में आयोजित किया जाता है जिसमें शम्मा लोगों को सम्मानित किया जाता है इस प्रोग्राम  प्रोग्राम को सफल बनाने में हरदा की टीम फोर्स MP के निर्माता मिस्टर राम पाटिल  मिस्टर संदीप पटवारे सहयोगी शुभम जाधम, गौरव चोलकर, सौरभ राजपूत, विनोद गुर्जर, रश्मि दुगया के सहयोग से संपन्न हुआ । मुख्य अतिथि टीम फोर्स मुंबई से नेशनल टीम कोऑर्डिनेटर मिस्टर मनीष सिंह सर इंटरनेशनल टीम कोऑर्डिनेटर मिस्टर राजन सिंह सर & मिस्टर संतोष सिंह सर आए थे इस कार्यक्रम में उन्होंने अपनी सफल भूमिका निभाई लोगों को बताया कि आज किस तरह डायरेक्ट सेल्लिंग बिज़नेस से उनके जीवन मे परिवर्तन हुआ और उन्हें आम आदमी से इस बिज़नेस ने ख़ास आदमी बनाया, और इस तरह आप भी डायरेक्ट सेलिंग बिजनेस करते हुए अपने सपनों को  इस  बिजनेस से पूरा कर सकते हैं इसी प्रोग्राम को देखने आए दूरदराज गांवों और शहरों के मोरगड़ी, हरदा, खिड़कियां, सिराली, खातेगांव, नेमावर, हंडिया, शिवनी, बानापुरा, बैतूल, खंडवा, भोपाल इत्यादि स्थानों से 1500 सौ से ज्यादा व्यक्तियों ने इस प्रोग्राम को देखा और आनंद लिया राजन सिंह सर ने बताया कि जब उन्होंने यह शुरुआत करी थी तब उन्होंने कभी यह कल्पना नहीं की थी कि कभी एक ऐसा भी दिन आएगा जब लोग इतनी दूर दूर से आकर कुर्सियां ना होने पर भी इस प्रोग्राम को खड़े होकर देखेंगे अभी शुरुआत की सिर्फ 3 साल हुए हैं तो यह आलम है आने वाले 3 सालों में खुले मैदान में प्रोग्राम करना पड़ेगा क्योंकि हरदा जिले के अंदर भी कोई बड़ा हॉल नहीं है लोगों की बढ़ती जागरूकता को देखते हुए आज लोग रोजगार के साथ-साथ देश विदेश की यात्रा और अपने सपनो को पूरा भी कर रहे हैं लोगों के मान सम्मान पर एक व्यक्ति के साथ साथ उसके परिवार को भी सम्मानित कर रहे हैं प्रोग्राम को सफल बनाने में समस्त हरदा जिले की टीम फोर्स MP के सहयोग से ही कार्यक्रम को सफल बनाया गया।