तुम्हीं मेरी पहली और आखरी आशा
तुम्हीं मेरी हो जीने की अभिलाषा
कहे करूं बखान तेरे प्यार की परिभाषा
सुन प्रियतम मेरे तुम ही मेरी पिपासा।।
तुम संग ही जुड़ी मेरी हैं सांसें
तुम्हें ही देख भरती मैं आंहें
बिन तेरे रह ना पाती प्रियतम
तुम्हीं मेरे जीने की हो वजह।।
मेरी पहली मंजिल तुम
मेरी आखरी मंजिल भी गुम
खोके तेरी आंखों की गहराई मे प्रियवर
जैसे हो जाती मैं बेसुध।।
तुम मेरी पहली और आखरी आशा।।2।।
वीना आडवाणी"तन्वी"
नागपुर, महाराष्ट्र
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